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Ahmad Rizvi

झूठा प्रचार

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दुनिया भर मे प्रचार और झूठा प्रचार होता रहता है । इस झूठे प्रचार के नकारात्मक (मनफी) प्रभाव से इंसान का बड़ा नुकसान होता रहा है । अक्सर आपने सुना होगा कि एक समुदाय (तबका) अपने नबीयों के बारे मे सच को न जानते हुए झूठा प्रचार करना शुरू कर देते है । इसी तरह हज़रत मोहम्मद मुस्तफा सल्लल्लाहो अलैह व आले वसल्लम के खिलाफ जादूगर होने का प्रचार किया गया । आज के दौर की तरह उस समय संचार के माध्यम (means of communication) इतने तेज़ नहीं थे इसके बावजूद मौखिक (ज़बानी) प्रचार के द्वारा एक दूसरे तक बात फैलाते थे उस बात की सच्चाई को जाने बिना या तसदीक किए बिना सच मान लेते थे । अब अल्लाह सुभान व तआला के नबी मोहम्मद मुस्तफा सल्लल्लाहो अलैह व आले वसल्लम के जानशीन अमीर-उल –मोमीनीन के बारे मे जो प्रचार किया गया उसको देखे “ जब हज़रत अली इब्ने हज़रत अबू तालिब पर नमाज़ मे सजदे के दौरान सर पर ज़हर बूझी हुई तलवार से अब्दुर रहमान इब्ने मुलजिम के द्वारा हमला किया और उस ज़ख्म के दौरान हुई शहादत की खबर जब शाम आज का सीरिया मुल्क के लोगों (अवाम ) तक पहुंची तो लोग हैरान होकर पूछते थे कि

जम्मू एंड कश्मीर का विभाजन और उसके लाभ:5

जम्मू और कश्मीर के कश्मीरी पंडित को जम्मूूूू और कश्मीर से बाहर निकालने वाले भूतपूर्व गवर्नर गिरीश चंद्र सक्सेना 500000 कश्मीरी पंडितोंं को शरणार्थी बननेे का प्रचार व प्रसार किया गया इसको हर चैनल पर दििखाया जाता हैं। सम्पूर्ण घाटी छावनी मे बदल जाने के बावजूद नागरिकों की सुरक्षा करने मे असफल रही, राज्य का परम कर्तव्य है कि राज्य अपने नागरिकों की रक्षा करे लेकिन राज्य अपने नागरिकों की रक्षा करने मे पूर्णतया असफल रहा ये असफलता राज्य को फ़ेल स्टेट साबित करती है एक तरफ राज्य ने कश्मीरी पंडितो को उनके घरो ज़मीन जायदाद से बेदखल किया उनकी सुरक्षा करने से इंकार किया दूसरी ओर मुस्लिम नागरिकों का लाखो लोग का कत्ल किया जाना राज्य और फौज को शक के घ्रेरे मे लाता है ग़ैर मुसल्ला हथियार बंद लोगो की रक्षा करने के लिए हथियार बंद फौज , अर्ध सैनिक बल और पुलिस हिफाज़त करने मे नाकाम रही और सरकार ने अपने नागरिकों को रक्षा करने मे हथियार भी उपलब्ध नहीं कराये की नागरिक अपनी रक्षा स्वम कर सकते कुछ लोग गवर्नर गिरीश चन्द्र सक्सेना पर यह भी आरोप लगाते है कि कश्मीरी पंडितो को बाहर इसलिए निकाला ताकि मुस्लिमो का दमन कि